Baba Ramdev Biography In Hindi : बाबा रामदेव का पूरा नाम रामकृष्ण यादव है. अब रामकृष्ण यादव को अधिकांश लोग स्वामी रामदेव या बाबा रामदेव के नाम से ही जानते है. रामदेव जी योगासन व प्राणायाम योग में महारत रखते है. अलग-अलग स्थानों पर खुद जाकर योग-शिविरों का आयोजन करते हैं, अब तक देश-विदेश के करोड़ों लोगों को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से योग सिखा चुके हैं.
अभी करते हैं खेती, माता-पिता व भाई Baba Ramdev Family
गांव सैद अलीपुर के सरपंच देशपाल ने बताया कि तीन भाई और एक बहन के परिवार में रामदेव दूसरे नंबर के हैं। बड़े भाई देवदत्त का परिवार गांव में रहता है। वे पहले सीआरपीएफ में थे अब गांव में खेती कर रहे हैं। रामदेव के माता-पिता और एक भाई व एक बहन का परिवार हरिद्वार में रहता है। रामदेव के छोटे भाई का नाम रामभरत है। वे कभी-कभी खेतों को संभालने के लिए गांव आते रहते हैं।
पतंजली का कारोबार देखते हैं रामभरत
रामदेव के छोटे भाई राम भरत पतंजलि आयुर्वेद का हमेशा का काम देखते हैं। 38 वर्ष के भरत कंपनी ने एमडी आचार्य बालकृष्ण और बाबा रामदेव को रिपोर्ट करते हैं। लामलाइट से दूर रहने वाले राम भरत पहली बार मीडिया में तब सुर्खियों में आए थे जब उन्हें हरिद्वार की ट्रक यूनियन और पतंजलि फूड एंड हर्बल पार्क के गार्ड्स के बीच विवाद कराने के आरोप में ज्यूडिशियल कस्टडी में भेजा गया था। उस मामले में एक शख्स की मौत भी हो गई थी। कई लोग उन्हें कंपनी का अनऑफिसियल सीईओ भी कहते हैं।
बाबा रामदेव की बचपन से अब तक की कहानी Baba Ramdev Biography In Hindi
बाबा रामदेव का जन्म हरियाणा के महेंद्रगढ़ जिले के सैद अलीपुर गांव में हुआ। उनके पिता का नाम रामनिवास व माता का नाम गुलाब देवी है। जब रामदेव छोटे थे तो उनके गांव में एक योगी आए, उनके सानिध्य में रहकर रामदेव का मन योग में लगने लगा और उनका रुझान वैदिक शिक्षा की तरफ बढ़ा।
गुरुकुल में शिक्षा ग्रहण करने के लिए रामदेव घर से भाग गए और कई गुरुकुल में प्रवेश के लिए पहुंचे लेकिन वहां प्रवेश नहीं मिल सका। अंत में वे हरियाणा के खानपुर गुरुकुल में पहुंचे जहां गुरुकुल शिक्षा पद्धति से शिक्षा ग्रहण की। उनके पिता गुरुकुल ढूंढ़ते हुए पहुंचे और घर वापिस ले जाने लगे तो रामदेव ने इन्कार कर दिया। Baba Ramdev Biography In Hindi
1990 में आचार्य बालकृष्ण से हुई मुलाकात
1990 में बाबा रामदेव की मुलाकात आचार्य बालकृष्ण से हुई । दोनों की मित्रता हुई। गुरुकुल से शिक्षा ग्रहण करने के बाद बाबा दोनों हिमालय में योग व आयुर्वेद पर ज्ञान अर्जित किया। Baba Ramdev Biography In Hindi
कृपालु आश्रम कनखल में 1994 में की शुरूआत
हरिद्वार के कृपालु आश्रम में 10 नवंबर 1994 में बाबा रामदेव व आचार्य बालकृष्ण ने चैरिटेबल ट्रस्ट की स्थापना की। यहां वे योग कैंप लगाने लगे और आयुर्वेदिक पद्धति से लोगों की फ्री चिकित्सा भी करने लगे। बाबा रामदेव तब घर-घर में जाना पहचाना नाम बन गए, जब एक धार्मिक टीवी चैनल ने उन्हें योग के एक प्रोग्राम में फीचर करना शुरू किया।
दोस्तों से उधार लेकर कराया था कंपनी का रजिस्ट्रेशन
सन 1995 में पतंजलि का कंपनी के रुप में रजिस्ट्रेशन हुआ था. बाबा रामदेव और उनके सहयोगी आचार्य बालकृष्ण ने महज 13 हजार रुपये में पतंजलि का रजिस्ट्रेशन कराया था. उस वक्त इन दोनों के पास सिर्फ 3500 रुपये थे. किसी तरह दोस्तों से उधारी लेकर रेजिस्ट्रेशन शुल्क चुकाया गया.
आज 28 वर्ष पश्चात पतंजलि फूड्स कुकीज, विटामिन गमीज और मिलेट बेस्ड फूड्स जैसे हाई प्रीमियम प्रॉडक्ट्स बाजार में उतारने की तैयारी में है. बाबा रामदेव की कंपनी पतंजलि फूड्स (पहले का नाम रुचि सोया इंडस्ट्रीज) अभी बिस्किट्स, एडिबल ऑयल (खाने में इस्तेमाल होने वाला तेल), सोया चंक और शहद बेचती है. Baba Ramdev Biography In Hindi
कुछ ऐसे आरम्भ किया था सफर Baba Ramdev Business
बाबा रामदेव ने एक टीवी को दिए इंटरव्यु में कहा था कि उन दिनों हरियाणा और राजस्थान के शहरों में हर वर्ष करीब पचास योग कैंप लगाता था, उन दिनों बाबा रामदेव को अक्सर हरिद्वार की सड़कों पर स्कूटर चलाते देखा जाता था.
वर्ष 2002 में गुरु शंकरदेव की खराब सेहत के चलते बाबा रामदेव दिव्य योग ट्रस्ट का चेहरा बने, जबकि उनके दोस्त बालकृष्ण ने ट्र्स्ट के फाइनेंस का जिम्मा संभाला और कर्मवीर को ट्रस्ट का प्रशासक बनाया गया था. इसके बाद से ही गुरुकुल के जमाने के ये तीनों दोस्त पतंजलि योगपीठ के आर्थिक साम्राज्य को आगे बढ़ा रहे है. Baba Ramdev Biography In Hindi
योग शिविर से हुए लोकप्रिय
हरिद्वार में दिव्य योग ट्रस्ट के बैनर तले बाबा रामदेव ने देश और विदेश में जोर-शोर से योग शिविर लगाने शुरु कर दिए थे. हरियाणा के गांवों से शुरु हुआ उनके योग सिखाने का ये सिलसिला गुजरात और दिल्ली से होते हुए मुंबई तक जा पुहंचा था.
शुरुआत में बाबा रामदेव के योग शिविर में दो से ढाई सौ लोग आते थे, लेकिन जैसे- जैसे उनकी लोकप्रियता बढ रही थी उनके शिविरों में लोगों की संख्या भी तेजी से बढती चली जा रही थी. Baba Ramdev Biography In Hindi
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दान में मिले 50 हजार रुपये से शुरू किया जड़ी बूटी कारोबार
बाबा रामदेव के ट्रस्ट का लक्ष्य आम लोगों के मध्य योग और आयुर्वेद के प्रयोग को लोकप्रिय बनाना था. बाबा रामदेव भी बताते हैं कि पहली बार उनको जो पचास हजार रुपये का दान मिला था उसी से उन्होंने आयुर्वेदिक जड़ी बूटियों का कारोबार शुरु किया था जो आज हजारों करोड़ रुपये तक पहुंच चुका है.
वर्ष 1995 में दिव्य योग ट्रस्ट, वर्ष 2006 में दूसरा पतंजलि योगपीठ ट्रस्ट बना और तीसरा भारत स्वाभीमान ट्र्स्ट बाबा रामदेव एक के बाद एक अपने ट्रस्ट बनाते चले गए और इसी के साथ तेजी से इस संन्यासी का आर्थिक साम्राज्य भी फैलता चला गया है.
पतंजली ऐसे बन गई FMCG की बाहुबली
कंपनी मामलों के मंत्रालय की वेबसाइट पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार फाइनेंशियल ईयर 2011-12 में कंपनी की आय 453 करोड़ रुपये और मुनाफा 56 करोड़ रुपये था. फाइनेंशियल ईयर 2012-13 में कंपनी की आय बढ़कर 849 करोड़ रुपये और मुनाफा बढ़कर 91 करोड़ रुपये हो गया. कंपनी का कुल कारोबार 453 करोड़ रुपये से बढ़कर अब 30,000 करोड़ रुपये हो गया है. Baba Ramdev Biography In Hindi